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राजस्थानी भाषा के मुद्दे पर हुई सभा

25 अगस्त को महात्मा गांधी सर्किल व राजस्थान विश्वविद्यालय के मुख्य द्वार पर होंगे मुखपत्ती सत्याग्रह
जयपुर (डॉ. सत्यनारायण सोनी). राजस्थान विश्वविद्यालय के राजस्थान अध्ययन केन्द्र में मंगलवार को राजस्थानी भाषा को संवैधानिक मान्यता दिलवाने के मुद्दे पर बैठक हुई। अखिल भारतीय राजस्थानी भाषा मान्यता संघर्ष समिति तथा मातृभाषा राजस्थानी छात्र मोर्चा की ओर से आयोजित इस बैठक के पश्चात विश्वविद्यालय के मुख्य द्वार पर सभा हुई जिसमें बड़ी संख्या में विद्यार्थियों ने शिरकत करेंगे। अध्यक्षता संघर्ष समिति के जयपुर संभाग अध्यक्ष इंद्रसिंह गाडण ने की।
    इस अवसर पर मुख्य वक्ता राजस्थान विश्वविद्यालय शोध छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष डॉ. वेदप्रकाश शर्मा ने कहा कि राजस्थानी को मान्यता मिलने से राजस्थान की युवा पीढ़ी के लिए रोजगार के द्वार खुलेंगे और राजस्थान का स्वाभिमान जागेगा। उन्होंने 25 अगस्त को राजस्थानी भाषा मान्यता संकल्प दिवस के अवसर पर आयोजित मुखपत्ती सत्याग्रह में बढ़-चढ़कर भाग लेने का आह्वान किया। संघर्ष समिति के प्रदेश मंत्री विनोद स्वामी ने जानकारी दी कि 25 अगस्त को संकल्प दिवस के अवसर पर 11 से 12 बजे तक महात्मा गांधी सर्किल तथा 1 से 2 बजे तक राजस्थान विश्वविद्यालय के मुख्य द्वार पर मुखपत्ती सत्याग्रह कर ‘राजस्थानी रै बिना गूंगो राजस्थान’ का संदेश दिया जाएगा। छात्र मोर्चा के प्रदेश संगठन मंत्री दीनदयाल कुमावत ने रोष व्यक्त किया कि राजस्थान विधानसभा में राजस्थानी विधायक को अन्य 22 भाषाओं में बोलने की तो छूट है मगर अपनी मातृभाषा राजस्थानी में उसे शपथ लेने का भी अधिकार नहीं। वहीं मोर्चा की राजस्थान विश्वविद्यालय इकाई के संयोजक पवन सैनी ने कहा कि राजस्थान की जनता अब जाग चुकी है तथा वह अपना यह हक लेकर ही रहेगी। मोर्चा की प्रदेश मंत्री निरमा लाम्बा तथा छात्र नेता महेन्द्रसिंह शेखावत ने भी विचार रखे।

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